बेंगलुरु । कर्नाटक में आज सिद्धारमैया ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। यह शपथ ग्रहण समारोह कांग्रेस के शक्ति प्रदर्शन के रूप में देखा गया। इसमें कई विपक्षी दलों के नेता शामिल हुए। शपथ ग्रहण समारोह के बाद राहुल गांधी ने वहां मौजूद लोगों को संबोधित करते हुए साफ तौर पर कहा कि हम झूठे वादे नहीं करते। हम जो कहते हैं वह करके दिखाते हैं। उन्होंने कहा कि हमने चुनाव में जो 5 गारंटी दी हैं, उसको हर हाल में लागू करेंगे। साथ ही भ्रष्टाचार मुक्त शासन देंगे। इस दौरान उन्होंने कर्नाटक में कांग्रेस को जिताने के लिए जनता का धन्यवाद किया। उन्होंने भाजपा पर भी जबरदस्त तरीके से प्रहार करते हुए कहा कि कर्नाटक की जनता ने बीजेपी की नफरत को हरा दिया और यहां के लोगों ने मोहब्बत की दुकान खोली है। राहुल गांधी ने कहा कि कांग्रेस की जीत के बाद कई बातें लिखी गईं कि कांग्रेस कैसे यह चुनाव जीती, अलग-अलग विश्लेषण किए गए लेकिन मैं कहना चाहता हूं कि कांग्रेस इसलिए जीती क्योंकि हम गरीबों, दलितों, आदिवासियों, पिछड़ों के साथ खड़े थे। हमारे पास सच्चाई थी, गरीब लोगों का साथ था। बीजेपी के पास पैसा, पुलिस और सब कुछ था लेकिन कर्नाटक की जनता ने उनकी सारी शक्तियों को हरा दिया। उन्होंने वहां मौजूद लोगों से कहा कि हमने आपसे 5 वादे किए थे। मैंने कहा था कि हम झूठे वादे नहीं करते। हम जो कहते हैं वह करते हैं। 
राहुल ने कहा कि एक दो घंटे में कर्नाटक की नई सरकार की पहली कैबिनेट की बैठक होगी। उसमें हमारे जो पांच वादे हैं वे कानून बन जाएंगे। उन्होंने कहा कि हम आपको स्वच्छ, भ्रष्टाचार मुक्त सरकार देंगे। गौरतलब है ‎कि कर्नाटक के नए मुख्यमंत्री के तौर पर सिद्धारमैया ने शपथ ले ली है। राज्यपाल थावरचंद गहलोत ने उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई। वहीं, डीके शिवकुमार ने उपमुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ग्रहण की। दोनों नेताओं ने कन्नड़ भाषा में शपथ ली। सिद्धारमैया के शपथ समारोह को कांग्रेस के शक्ति प्रदर्शन के तौर पर भी देखा जा रहा है। इसमें विपक्षी दलों के कई बड़े नेता शामिल हुए। इसमें कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और महासचिव प्रियंका गांधी के अलावा तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन, मक्कल नीडि माईम के प्रमुख कमल हसन, राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू व मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ, नेशनल कांफ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला और राकांपा अध्यक्ष शरद पवार भी इसमें शामिल हुए।